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प्रधानमंत्री सूर्य घर योजना: ₹10,907 करोड़ के 5.79 लाख ऋण स्वीकृत

प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना के तहत ₹10,907 करोड़ के 5.79 लाख ऋण आवेदन स्वीकृत |सह-आवेदक की सुविधा और क्षमता सीमा हटाने जैसे सुधारों से योजना हुई और सशक्त

प्रधानमंत्री सूर्य घर योजना: ₹10,907 करोड़ के 5.79 लाख ऋण स्वीकृत


नई दिल्ली, अक्टूबर 2025:
भारत सरकार की प्रमुख पहल प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना (PM Surya Ghar Muft Bijli Yojana - PMSGMBY) देश के हर घर को स्वच्छ और सस्ती ऊर्जा उपलब्ध कराने के लक्ष्य की ओर तेजी से अग्रसर है। इस दिशा में एक बड़ी उपलब्धि दर्ज करते हुए, सितंबर 2025 तक सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों (Public Sector Banks - PSBs) ने 5.79 लाख से अधिक ऋण आवेदन स्वीकृत किए हैं, जिनकी कुल राशि ₹10,907 करोड़ तक पहुंच गई है। यह उपलब्धि देशभर में सौर ऊर्जा को अपनाने और हर नागरिक को आत्मनिर्भर बनाने के मिशन को और मजबूत करती है।

🌞 सौर ऊर्जा से आत्मनिर्भरता की दिशा में अग्रसर भार

प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना का उद्देश्य घर-घर में स्वच्छ ऊर्जा पहुँचाकर बिजली बिलों में राहत देना, ऊर्जा आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देना और पर्यावरण संरक्षण को सशक्त बनाना है। योजना के माध्यम से लाभार्थियों को अपने घर की छत पर सोलर पैनल स्थापित करने के लिए वित्तीय सहायता और बैंक ऋण की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। इससे न केवल बिजली लागत में कमी आती है, बल्कि अधिशेष बिजली से अतिरिक्त आय भी संभव होती है।


💡 सरल और डिजिटल प्रक्रिया से हर घर तक पहुंच

योजना को सफलतापूर्वक लागू करने के लिए जनसमर्थ पोर्टल (JanSamarth Portal) को राष्ट्रीय पोर्टल (pmsuryaghar.gov.in) से जोड़ा गया है। इससे ऋण आवेदन से लेकर स्वीकृति और वितरण तक की पूरी प्रक्रिया पूर्णतः डिजिटल और पारदर्शी बन गई है। लाभार्थियों को अब किसी बैंक शाखा में कई बार जाने की आवश्यकता नहीं होती — आवेदन, सत्यापन और स्वीकृति सभी ऑनलाइन संपन्न हो जाते हैं।
यह डिजिटल एकीकरण लाभार्थियों को डेटा-आधारित निर्णय प्रक्रिया, बेहतर उपयोगकर्ता अनुभव और तेजी से ऋण स्वीकृति सुनिश्चित करता है।

🏦 ऋण योजना की मुख्य विशेषताएं

प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना के तहत मॉडल ऋण योजना को इस प्रकार डिज़ाइन किया गया है कि यह अधिक से अधिक परिवारों को सुलभ हो सके। इसके तहत —

  • ₹2 लाख तक का ऋण बिना किसी गारंटी (Collateral-Free) के दिया जा रहा है।
  • प्रतिस्पर्धी ब्याज दरों पर ऋण उपलब्ध है।
  • लंबी अदायगी अवधि (Tenor) रखी गई है, जिससे बिजली बिल में बचत से ही ऋण की अदायगी आसान हो।
  • ऋण वितरण के बाद 6 महीने का मोरेटोरियम (छूट अवधि) दिया जाता है।
  • न्यूनतम मार्जिन योगदान की आवश्यकता रखी गई है ताकि वित्तीय बोझ न बढ़े।
  • पूरी प्रक्रिया स्व-घोषणा आधारित डिजिटल स्वीकृति पर आधारित है।

इन सुविधाओं ने सौर ऊर्जा को अपनाने के इच्छुक आम नागरिकों, विशेष रूप से ग्रामीण और मध्यम वर्गीय परिवारों के लिए योजना को अत्यंत सरल और आकर्षक बना दिया है।


⚙️ योजना में किए गए महत्वपूर्ण सुधार

सरकार ने समय-समय पर प्राप्त फीडबैक और उपयोगकर्ता सुझावों के आधार पर योजना में कई सुधार और विस्तार किए हैं ताकि अधिक लोग इसका लाभ उठा सकें।

  • सह-आवेदक (Co-Applicant) को जोड़ने की अनुमति दी गई है, जिससे एक ही परिवार के कई सदस्य मिलकर ऋण के लिए आवेदन कर सकते हैं।
  • क्षमता आधारित सीमा (Capacity-Based Cap) को हटा दिया गया है, ताकि लाभार्थी अपनी जरूरत और उपलब्ध जगह के अनुसार सोलर सिस्टम लगा सकें।
  • दस्तावेजी प्रक्रिया को और सरल बनाया गया है, जिससे आवेदन प्रक्रिया में लगने वाला समय और कागजी कार्यवाही कम हो सके।

इन बदलावों से योजना की पहुँच में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है और अधिक से अधिक घर सौर ऊर्जा अपनाने के लिए प्रोत्साहित हो रहे हैं।


🏛️ मंत्रालयों और बैंकों का समन्वित प्रयास

वित्तीय सेवाएं विभाग (Department of Financial Services) और नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (Ministry of New and Renewable Energy) के संयुक्त प्रयासों से योजना की प्रगति की नियमित समीक्षा की जा रही है।
राज्य स्तरीय बैंकर्स समितियों (State Level Bankers Committees - SLBCs) और लीड डिस्ट्रिक्ट मैनेजर्स (Lead District Managers - LDMs) के सहयोग से, योजना को जमीनी स्तर पर और अधिक प्रभावी रूप से लागू किया जा रहा है।
यह सहयोग सुनिश्चित कर रहा है कि लाभार्थियों तक वित्तीय सहायता समय पर और पारदर्शी रूप से पहुँचे।

स्वच्छ ऊर्जा, हर घर की पहचान

प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना आज केवल एक सरकारी कार्यक्रम नहीं, बल्कि एक जन आंदोलन बन चुका है।
यह योजना न केवल कार्बन उत्सर्जन को घटाने में योगदान दे रही है, बल्कि ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में स्वच्छ ऊर्जा के प्रति जागरूकता और आत्मनिर्भरता को भी बढ़ावा दे रही है।

योजना के माध्यम से हर घर अब ‘ऊर्जा का उत्पादक’ बन रहा है। बिजली की बचत और अतिरिक्त उत्पादन से न केवल पर्यावरण की रक्षा हो रही है, बल्कि आर्थिक बचत और आय के नए अवसर भी पैदा हो रहे हैं।


सारांश:
प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना के तहत अब तक ₹10,907 करोड़ मूल्य के 5.79 लाख ऋण आवेदन स्वीकृत किए जा चुके हैं।
सरल डिजिटल प्रक्रिया, बिना गारंटी के सस्ते ऋण, सह-आवेदक सुविधा और क्षमता सीमा हटाने जैसे सुधारों से योजना को व्यापक जन समर्थन मिल रहा है।
यह पहल न केवल हर घर को सौर ऊर्जा से रोशन कर रही है, बल्कि भारत को ऊर्जा आत्मनिर्भरता की दिशा में अग्रसर कर रही है।


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